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बच्चों की पढ़ाई को लेकर फैसला जून के बाद, सरकार ने तैयार किया मास्टर प्लान

बच्चों की पढ़ाई को लेकर फैसला जून के बाद, सरकार ने तैयार किया मास्टर प्लान

कोरोना संकट के बीच बच्चों की पढ़ाई और भविष्य को लेकर चिंतित अभिभावकों के लिए यह खबर थोड़ी राहत देने वाली है। जिसमें लॉकडाउन खत्म होने के बाद स्कूलों में प्रवेश,नामांकन, अधूरी रह गई बोर्ड परीक्षाओं और मूल्यांकन जैसे कामों को शुरु करने की अनुमति मिल सकती है। इन गतिविधियों के संचालन की इजाजत अभी सिर्फ ग्रीन जोन में रहेगी। स्थिति को देखते हुए इसे बाद में हॉट स्पॉट को छोड़कर दूसरे सभी क्षेत्रों में भी शुरु करने की अनुमति दी जा सकती है।

इस बीच मानव संसाधन विकास मंत्रालय ने 17 मई को लाकडाउन खत्म होने के बाद केंद्रीय विद्यालयों की प्रवेश प्रक्ति्रया को शुरु करने के संकेत दिए है। इसके साथ ही मानव संसाधन विकास मंत्रालय ने स्कूलों के लिए एक सेफ्टी गाइड लाइन तैयार करने का भी काम शुरु किया है। जिसे लाकडाउन खत्म होने से पहले ही तैयार कर सभी शैक्षणिक संस्थानों तक पहुंचाने की योजना है। फिलहाल इस काम में एनसीईआरटी और केंद्रीय विद्यालय संगठन को लगाया गया है।


बच्चों की पढ़ाई को लेकर फैसला जून के बाद

प्रवेश प्रक्रिया को स्कूलों के गर्मी की छुट्टियों से खुलने से पहले ही पूरी करने की तैयारी है। वैसे भी केंद्रीय विद्यालयों सहित देश के ज्यादतर स्कूलों में 15 मई के बाद गर्मी की छुट्टी शुरू हो जाएगी, जो करीब 30 जून तक रहेगी। इस बीच गर्मी में अतिरिक्त क्लास लगाने की योजना को भी टाल दिया गया है। यानी अब स्कूलों में पढ़ाई को लेकर कोई भी फैसला जून के बाद स्थिति को देखते हुए लिया जाएगा।


स्कूलों के लिए सेफ्टी प्लान तैयार करने में जुटे विशेषज्ञों के मुताबिक वह सभी क्षेत्रों को ध्यान में रखकर प्लान तैयार कर रहे है। खासकर जो क्षेत्र कोरोना के संक्त्रमण से पूरी तरह से मुक्त है, वहां शैक्षणिक गतिविधियों को शुरू करने में कोई दिक्कत नहीं है। बाकी क्षेत्रों में भी कुछ प्रतिबंधों के साथ इन्हें शुरू किया जा सकता है। हालांकि इसके लिए स्थानीय प्रशासन की अनुमति जरूरी रहेगी। गौरतलब है कि स्कूलों का शैक्षणिक सत्र में वैसे तो अप्रैल से ही शुरू हो गया है, लेकिन लाकडाउन के चलते स्कूलों के बंद होने से अभी तक प्रवेश, नामांकन जैसी प्रक्ति्रयाएं अटकी पड़ी है।