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‘डेडिकेटेड टीम’ जांचेगी सूबे के एक एक शिक्षक के दस्तावेज: मुख्यमंत्री

‘डेडिकेटेड टीम’ जांचेगी सूबे के एक एक शिक्षक के दस्तावेज: मुख्यमंत्री

लखनऊ : 69,000 शिक्षकों की भर्ती में गड़बड़ी और कस्तूरबा गांधी बालिका विद्यालयों से जुड़े अनामिका शुक्ला प्रकरण ने शिक्षा विभाग की कार्यप्रणाली को कठघरे में खड़ा कर दिया है। भ्रष्टाचार पर जीरो टॉलरेंस की बात कहने वाली सरकार को विपक्ष इन मामलों को घेरने की पूरी तैयारी में है। ऐसे में मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने प्रदेश के सभी शिक्षकों के दस्तावेजों की जांच कराने के लिए ‘डेडिकेटेड टीम’ गठित करने के निर्देश दिए हैं।

हाल में शिक्षा विभाग के कुछ मामलों ने विपक्ष को सरकार पर उंगली उठाने का मौका दे दिया है। 69,000 शिक्षक भर्ती में प्रयागराज में गड़बड़ी सामने आने पर जांच एसटीएफ को सौंपी गई है। वहीं, कस्तूरबा गांधी विद्यालयों में अनामिका शुक्ला के नाम फर्जी नियुक्तियां उजागर होने के साथ ही अनियमितता की परतें खुलती जा रही हैं। इससे नाराज मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने रविवार को अपने सरकारी आवास पर आयोजित टीम-11 की बैठक में इस मुद्दे पर चर्चा की। पारदर्शी और शुचितापूर्ण व्यवस्था पर जोर देने के साथ ही उन्होंने निर्देश दिए हैं कि माध्यमिक शिक्षा, बेसिक शिक्षा, उच्च शिक्षा, कस्तूरबा गांधी और समाज कल्याण विभाग के सभी स्कूलों में जो भी शिक्षक नियुक्त हैं, उन सभी के दस्तावेजों की जांच कराई जाए। इसके लिए अलग से विशेष टीम बनाई जाएगी। जहां भी कोई गड़बड़ी मिले, सख्त कार्रवाई की जाए। योगी ने महिलाओं, एससी-एसटी, गो हत्या और गो तस्करी जैसी आपराधिक गतिविधियों में संलिप्त अपराधियों के खिलाफ सख्त और त्वरित कार्रवाई के लिए कहा है।